
आलस्य को त्याग आगे बढ़ें, नहीं तो मुसीबत में फंस जाएंगे
सफलता हासिल करने के लिए कड़ी मेहनत करनी होती है। जो व्यक्ति मेहनत करता है उसे कभी न कभी सफलता जरूर मिलती है। आलस्य करने वाला व्यक्ति जीवन में कभी भी सफल नहीं हो पाता है। सफलता हासिल करने के लिए आलस्य को छोड़कर निरंतर मेहनत करते रहनी चाहिए। हम आपको एक प्रेरणादायक कहानी के माध्यम से समझाते हैं कि आलस्य को त्यागना क्यों जरूरी है।
एक बाज के दो बच्चे थे। दोनों बच्चे बड़े हो गए थे, लेकिन उड़ना नहीं सीख पा रहे थे। रोजाना उनके पिता उन्हें पीठ पर बैठाकर जंगल ले जाते, जहां दोनों बच्चे दाना चुगते रहते। शाम को उनके पिता दोनों को पीठ पर बैठाकर घर ले आते। रोजाना बच्चों को पिता इसी तरह ले जाते और घर ले आते। अब बच्चों ने भी सोच लिया कि हमें उड़ने की क्या जरूरत है। हमारे पिता हमें रोजाना जंगल ले जाते हैं और घर वापस ले आते हैं। हमें तो मेहनत करने की कोई आवश्यकता ही नहीं। इस तरह दोनों बच्चे आलसी हो गए। ये दोनों बच्चे मेहनत करना ही नहीं चाहते थे।
जब उनके पिता को ये बात पता चली तो पिता ने उनका आलस्य दूर करने की योजना बनाई। अगले दिन पिता ने दोनों को पीठ पर बैठाया और आकाश में उड़ गए। ऊंचाई पर पहुंचते ही अचानक पिता ने दोनों बच्चों को अपनी पीठ से गिरा दिया। जब दोनों बच्चे मुसीबत में फंसे तो दोनों ने पंख फड़फड़ाने शुरू किए और आकाश में उड़ने लगे। घर पहुंचकर जब बच्चों ने ये बात अपनी मां को बताई तो मां ने कहा कि जो बच्चे मेहनत नहीं करते और आलस्य करते हैं उन्हें इसी तरह से समझाया जाता है। उस दिन से दोनों बच्चों ने जीवन में कभी आलस्य नहीं किया। सीख : आलस्य करने से आप मुसीबत में फंस सकते हैं। इसलिए कड़ी मेहनत करें और आलस्य का त्याग करें। जीवन में बिना मेहनत करे कुछ हासिल नहीं होता है।