
एमसीबी जिले में अधिकारिक कलम की नोक पर खुलेआम लूट ?
जिला एमसीबी से रईस अहमद की रिपोर्ट
मनेन्द्रगढ़ -क्या विधायक का नाम लेकर प्रशासनिक अधिकारी कर रहे हैं अवैध वसूली।
संयुक्त कलेक्टर नयनतारा सिंह तोमर का विवादो से पीछा नहीं छूट रहा है। नयनतारा सिंह तोमर वर्तमान में खड़गवा मे एसडीएम के पद पर विराजमान है इससे पहले वह मनेंद्रगढ़ में एसडीएम रह चुकी है। उनके खिलाफ कई शिकायतें हुई लेकिन लगता है सारी शिकायतों को रद्दी की टोकरी में डालकर जला दिया गया तभी तो आज तक उन शिकायतों में क्या कार्यवाही हुई किसी को भनक तक नहीं लगी,और उल्टा मैडम जी को संयुक्त कलेक्टर का पदभार एवं एसडीएम खड़गवां का पद इनाम स्वरूप दे दिया गया।
अभी वर्तमान में संयुक्त कलेक्टर के खिलाफ कांग्रेस के जिला प्रवक्ता सौरव मिश्रा ने मोर्चा खोल रखा है। उन्होंने फेसबुक पर शिकायत पत्र डाला हुआ है जिसमे माननीय मुख्यमंत्री और विधानसभा अध्यक्ष को पत्र के माध्यम से बताने की यह कोशिश की है कि किस तरह नियम विरुद्ध एक अधिकारी के ऊपर कलेक्टर महोदय मेहरबान है, उसी पोस्ट में कमेंट कर सुदर्शन अग्रवाल नामक एक व्यक्ति ने यह आरोप लगाया कि नयनतारा के जमाने में राजस्व विभाग मे मोलतोल होता था,और राजीव शर्मा नामक व्यक्ति कमेन्ट के माध्यम से आरोप लगा रहे हैं कि “सबसे रिश्वतखोर एसडीएम थी चोर है मेरा तीन बार नक्शा कैंसिल करके पैसा लेके पास की थी और बोलती है विधायक के पास भी पैसा जाता है मैं कुछ नही कर सकती” किसी महिला अधिकारी को चोर कहना यह बहुत बड़ी बात होती है। आम जनता एमसीबी जिले में राजस्व विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों से इस कदर पीड़ित है कि किसी जमीन का नक्शा किसी के खाते में काट दिया जाता है पटवारी खुलेआम अवैध वसूली जारी रखे हैं तहसीलदार और उनके बाबुओं के बारे में तो पूछो ही मत, एसडीएम का एक उदाहरण तो आप लोगों के सामने ही है, तहसील और एसडीएम कार्यालय के इर्द गिर्द कुछ टाइपिस्ट के रूप में कुछ काले कोट पहने और तो और कुछ लोग लोक सेवा केंद्र खोले खुलेआम जमीनों की दलाली कर रहे हैं जनता को बेवकूफ बनाकर,डरा धमका कर अधिकारियों कर्मचारियों से सांठगांठ कर अवैध वसूली कर रहे हैं ? आखिर इन सभी को इतनी छूट दिया किसने पीड़ित जनता कहां जाए किसके पास जाकर न्याय मांगे क्या छत्तीसगढ़ में एंटी करप्शन ब्यूरो की पदस्थापना है?अगर है तो वह विभाग भी आंखें मूंद कर क्यों सो रहा है?
माननीय मुख्यमंत्री जी क्या आप ने राज्य में अपने खुलेआम लूटपाट करने की छूट दे रखी है? क्या सफेद पोशाक पहने अधिकारी और कर्मचारी बंदूक से नहीं बल्कि कलम दिखाकर लोगों को लूट रहे हैं? क्या विधायक का नाम लेकर प्रशासनिक अधिकारी कर रहे हैं अवैध वसूली या फिर उनका भी इन अवैध वसूलिओं में योगदान है?
