खैरागढ़ में सरकार पर गरजे ओपी चौधरी कहां कांग्रेस की खैर नहीं

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*खैरागढ़ में सरकार पर गरजे ओपी चौधरी कहा  कांग्रेस की खैर नही
*रिपोर्ट कार्ड पेश करने की बजाय उपचुनाव के लिए अलग से  घोषणा पत्र जारी करना आश्चर्यजनक
* खैरागढ़ में कांग्रेस की खैर नहीं = ओपी चौधरी
खैरागढ़= उपचुनाव सह प्रभारी ओपी चौधरी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कहा कि कांग्रेस संभावित हार से भयभीत होकर अपने साढ़े तीन साल का रिपोर्ट कार्ड देने की बजाय उपचुनाव के लिये पृथक से घोषणा पत्र जारी कर रही है l सरकार काम मे कम और घोषणाओं में ज्यादा विश्वास करती है घोषणा की बजाय रिपोर्ट कार्ड पेश किए जाने की मांग करते हुए ओपी ने कहा लगातार छह दिन तक मुख्यमंत्री का चुनाव प्रचार में आना हार की बौखलाहट का प्रमाण है l छग के युवा साथियों को ठगने का काम काँग्रेस सरकार ने किया है l रोजगार उपलब्ध कराने के भ्रामक आंकड़े बताये जाने का खुलासा करते हुए कहा कि होर्डिंग के जरिये 5 लाख लोगों को रोजगार देने की बात कही गई l वही अपने भाषणों में भुपेश बंघेल ने 2 लाख 80 हजार लोगों को रोजगार देने की बात स्वीकार की जबकि विधानसभा में सरकार ने 24 हजार लोगों को रोजगार देने की जानकारी पटल पर रखी l भुपेश सरकार बताये कि जनता किस आंकड़े को सही माने l सत्ता हासिल करने क्व बाद सरकार नित नए झूठ बोल रही है 10 लाख युवाओ को प्रत्ति माह 2500 रुपये बेरोजगारी भत्ता देने का वादा करने वाली सरकार को सत्ता में आये 39 माह हो चुके अब तक सरकार हर  बेरोजगार युवाओं का 97500 रुपये कर्जा लग रही है l  98 प्रतिशत छत्तीशगाडिया युवाओ को रोजगार देने के कारण भदावे की भी ओपी चौधरी ने पोल खोल कर रख दी l विपक्ष  के दौरान भुपेश बघेल और टीएस सिंहदेव की जय वीरू की जोड़ी  ने यह वादा किया था कि सत्ता आने के 10 दिनों के अंदर सविंदा कर्मियों का नियममिति करण किया जाएगा बूढ़ा तालाब में धरना देने वाले सविंदा कर्मियों की कोई सुनने वाला नही है l शिक्षक भर्ती का दावा करने वाली भुपेश सरकार के कार्यकाल में 5000 शिक्षक भर्ती से वंचित है l भाजपा कार्यकाल के दौरान पीएससी  परीक्षाओं को लेकर पक्ष रखते हुए ओपी ने बताया कि शुरुआती दौर में  पीएससी भर्ती  में गड़बड़ियां सामने आने के बाद रमन सरकार ने राजनैतिक इच्छा शक्ति का परिचय देते हुए समय से पहले पीएससी के तत्कालीन चेयरमेन को हटाया गया ताकि भर्ती प्रक्रिया में पारदर्शिता लाई जा सके बाद में प्रदीप जोशी को पीएससी आयोग का चेयरमेन बनाया उंन्होने पीएससी परीक्षाओ को लेकर ऐतिहासिक सुधार किए जिनमे साल भर चलने वाली परीक्षाओं के कलेंडर आ जाते थे l प्रति वर्ष  26 नवंबर संविधान दिवस के दिन वैकेंसी निकली जाती थी l एक वर्ष में ही भर्ती प्रक्रिया को पूर्ण कर लिया जाता था l भ्रष्टाचार की गुंजाइश खत्म करने के लिए लिए  परीक्षा के अंतिम चरण इंटरव्यूह के दिन ही शाम को परिणाम घोषित किया जाता था l तुलनात्मक अध्ययन के दौरान यह बात सामने आई कि पूरे देश मे आयोजित होने वाली पीएससी परीक्षा सबसे अच्छे तरीके से छग में सम्पन्न हुई l यह छग के लिए गौरव की बात रही l यही वजह है कि आईएस हेतु यूपीएससी की परीक्षाओं में नए प्रयोग हेतु छग में पीएससी परीक्षाओं में  सुधांर के मॉडल को देखते हुए केंद्र की मोदी सरकार ने प्रदीप जोशी जी को  यूपीएससी आयोग का चेयरमेन बना दिया गया l यह छग के लिए गौरव का विषय है जैसे ही कांग्रेस की सरकार आई पीएससी भ्रष्टाचार का अड्डा बन गया l छग के गरीब लोग अपना जमीन जायदाद गहना बेचकर अपनी पढ़ाई पूरी करते है ताकि पीएससी द्वारा आयोजित परीक्षाओं के तहत उनकी संवैधानिक पद पर नियुक्ति हो सके l खुद के सामान्य परिवार से कलेक्टर तक पहुँचने की जानकारी देते हुए ओपी ने कहा कि  ताता पानी बलरामपुर जिले में है l लेकिन छग पीएससी परीक्षाओं का आलम यह है कि विभागीय आंसर सीट इसे सूरजपुर जिले में बताया जा रहा l सूचना के अधिकार के तहत जानकारी नही दी जा रही l इन्ही सब बिन्दुओ पर बात रखते हुए ओपी ने दावा किया है कि खैरागढ़ में काँग्रेस की खैर नही है l

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