मनरेगा कर्मियों के हड़ताल में चले जाने से रोजगार गारंटी का कार्य प्रभावित

बलौदाबाजार,
फागुलाल रात्रे, लवन।
राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना के क्रियान्वयन में अहम भूमिका निभाने वाले मनरेगा कर्मचारी व रोजगार सहायक पिछले दो माह से अनिश्चतकालीन हड़ताल में चल रहे है। जिसकी वजह से ग्राम पंचायतों में मनरेगा के तहत चलने वाले रोजगार गारंटी का काम प्रभावित हो गया है। हजारो अकुशल श्रमिक बेरोजगार हो गये है।
गौरतलब हो कि मनरेगा कर्मचारी व रोजगार अपनी एक सुत्रीय मांग को लेकर दो माह से अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चल रहे है। मनरेगा के कर्मचारियों व रोजगार सहायकों के हड़ताल में जाने की वजह से हजारो, लाखो अकुशल श्रमिक बेरोजगार हो गए है। कुछ पंचायतों ने तालाब गहरीकरण कराने के लिए तालाब के पानी को खाली कर दिया है। जिससे गांव वालों को निस्तारी की समस्या हो रही है। इसी क्रम में ग्राम पंचायत सरखोर के मनीपुर मार्ग पर स्थित सरखोर का प्रमुख निस्तारी तालाब रामसागर तालाब का पानी काफी प्रदुषित हो चूका था। जिसकी वजह से ग्रामीणों ने तालाब गहकरीकरण कराने के लिए दो माह पहले तालाब के पानी को खाली कर दिया। जिससे ग्राम सरखोर व आश्रित ग्राम मनीपुर के ग्रामीणों को निस्तारी की समस्या उत्पन्न हो रही है। ग्रामीणों ने बताया कि यह रामसागर तालाब निस्तारी के लिए प्रमुख तालाब था। जिसमें गांव के करीब 7 हजार लोग इसमें निस्तारी करते है। गांव के अन्य छोटे-छोटे तालाब में पानी कम हो जाने की वजह से खुजली की समस्या उत्पन्न हो रही है, जिसकी वजह से ग्रामीणों को काफी परेशानी उठानी पड़ रही है। हर साल मनरेगा के तहत रोजगार गारंटी का काम चलता था। राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना से रोजगार गारंटी का काम चलने पर ग्रामीणों में खुशी की लहर देखी जाती थी। लेकिन इस वर्ष अकुशल श्रमिक बेरोजगार घुम रहे है। मनरेगा कर्मियों के हड़ताल की वजह से मनरेगा योजना के तहत कोई काम नहीं हो रहा और न ही ग्रामीणों को रोजगार मिल पा रहा है। इस समय ग्रामीण आर्थिक तंगी के दौर से गुजर रहे है। वही, छत्तीसगढ़ शासन की महत्वकांक्षी योजना नरवा, गरवा, घुरूवा, बारी का काम प्रभावित हो रहा हैं।

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