
रायपुर: विधानसभा चुनाव से डेढ़ साल पहले ही बीजेपी और कांग्रेस मिशन 2023 के अभियान में जुट गई हैं। खास तौर पर कांग्रेस पूरी तरह से चुनावी मोड में आ गई है। इसी बीच कांग्रेस के विधायकों के कामकाज का रिपोर्ट कार्ड सामने आया है, जिसमें कई विधायकों का परफॉर्मेंस ठीक नहीं है। इस पर सीएम भूपेश बघेल ने सलाह दी कि विधायक खुद इसकी समीक्षा करें और समय रहते सुधार करें। लेकिन सवाल है कि सीएम की सलाह के बाद चुनाव से पहले ऐसे विधायक अपने व्यवहार और कार्यो से जनता का दिल जीत लेंगे? अगर वो सफल भी होते है तो क्या पार्टी ऐसे लोगों पर एक फिर दांव लगाने का रिस्क लेगी।
16 अप्रैल को खैरागढ़ उपचुनाव में जीत का चौका लगाने के बाद कांग्रेस अभी ठीक से जश्न भी नहीं मना पाई थी कि उसे आत्मवलोकन की सलाह मिली है। दरअसल मिशन 2023 की तैयारियों में जुटी कांग्रेस आगे की रणनीति को धार देने अपने विधायकों के कामकाज का रिपोर्ट कार्ड तैयार कराया है, जिसमें कई विधायकों का परफॉर्मेंस ठीक नहीं बताया जा रहा, जिस पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि सर्वे में बहुत सी जानकारी है। अभी समय भी है, अपने व्यवहार से और काम से उसे ठीक कर सकते हैं।
मुख्यमंत्री ने सर्वे के आधार पर फीडबैक और कार्रवाई की बात भी कही है। माना जा रहा है कि सर्वे में जिन विधायकों का रिपोर्ट कार्ड ठीक नहीं है। उन्हें लेकर संगठन चिंतित है, तो कांग्रेस विधायकों में भी हड़कंप मचा है। दूसरी ओर बीजेपी को बैठे बिठाए कांग्रेस को घेरने का मौका मिल गया है।
विधानसभा चुनाव में अभी 18 महीने से भी ज्यादा का वक्त है लेकिन ने कांग्रेस अपना चुनावी मोड ऑन कर दिया है। प्रदेश प्रभारी समेत संगठन के तमाम नेताओं के दौरे हो रहे हैं। बैठकों और चिंतन-मंथन का दौर जारी है। मुख्यमंत्री खुद 4 मई से सभी विधानसभा क्षेत्रों का दौरा करने वाले हैं। दरअसल 90 विधानसभा सीटों में से 71 सीटों पर कांग्रेस का कब्जा है। सभी विधायकों को टिकट देना संगठन के लिए बड़ी चुनौती होगी।