
डिप्टी सीएम विजय शर्मा का ऐलान: नक्सलमुक्त पंचायतों को मिलेगा 1 करोड़ रुपये, बस्तर में विकास की नई राह
रायपुर: छत्तीसगढ़ के उपमुख्यमंत्री विजय शर्मा ने नक्सल प्रभावित क्षेत्रों को लेकर बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा कि अब केवल सरकार और सुरक्षाबल ही नहीं, बल्कि जनता भी नक्सलवाद के खात्मे के लिए पूरी तरह से तैयार है। राज्य सरकार ने नक्सलमुक्त पंचायतों के लिए 1 करोड़ रुपये के विशेष विकास पैकेज की घोषणा की है। यह राशि शिक्षा, स्वास्थ्य, सड़क, बिजली और संचार सुविधाओं को मजबूत करने में खर्च की जाएगी।
बस्तर में तेज़ी से हो रहा नक्सल उन्मूलन
विजय शर्मा ने बताया कि गृहमंत्री अमित शाह के नेतृत्व में केंद्र सरकार ने मार्च 2026 तक बस्तर से नक्सलवाद खत्म करने का लक्ष्य रखा है। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के नेतृत्व में इस अभियान को और गति दी जाएगी। हाल ही में बीजापुर, कांकेर और नारायणपुर जिलों में सुरक्षा बलों के सर्च ऑपरेशन में 30 नक्सली मारे गए हैं।
बड़ी कार्रवाई:
- बीजापुर (गंगालूर क्षेत्र) – डीआरजी, एसटीएफ, बस्तर फाइटर्स, कोबरा और सीआरपीएफ की संयुक्त कार्रवाई में 26 नक्सली ढेर।
- कांकेर-नारायणपुर बॉर्डर – डीआरजी, बस्तर फाइटर्स और बीएसएफ ने 4 नक्सलियों को मार गिराया।
- ऑपरेशन के दौरान एके-47, एसएलआर, इंसास, 303 राइफल, रॉकेट लॉन्चर और भारी मात्रा में विस्फोटक सामग्री बरामद हुई।
नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में विकास कार्यों की रफ्तार तेज
उपमुख्यमंत्री ने बताया कि सरकार ने नक्सल प्रभावित इलाकों में तेज़ी से विकास कार्यों को आगे बढ़ाने का संकल्प लिया है।
- 577 नए मोबाइल टावरों की स्थापना से दूरसंचार सुविधाओं में सुधार हुआ है।
- बीजापुर-पामेड़, नारायणपुर-मस्कुल, दंतेवाड़ा-अरनपुर, और जगारगुंडा में बस सेवाएं बहाल की गई हैं, जिससे ग्रामीणों को बेहतर परिवहन सुविधा मिल रही है।
- शहीद जवानों की स्मृति में “वीर बलिदानी योजना” के तहत 500-600 प्रतिमाएं स्थापित की जाएंगी, जिसके लिए प्रारंभिक रूप से 10 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं।
बस्तर की सांस्कृतिक धरोहर को मिलेगा सम्मान
डिप्टी सीएम विजय शर्मा ने कहा कि बस्तर की समृद्ध संस्कृति को राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाने के लिए 1-3 अप्रैल को “बस्तर पंडुम महोत्सव” का आयोजन किया जाएगा।
- इस महोत्सव में 85 मांझी, पद्मश्री सम्मानित हस्तियां, स्थानीय कलाकार और विशिष्ट अतिथि शामिल होंगे।
- यह आयोजन बस्तर की लोककला, परंपरा और सांस्कृतिक धरोहर को बढ़ावा देने के लिए किया जा रहा है।
छत्तीसगढ़ सरकार की यह पहल नक्सलवाद के खात्मे और बस्तर के सर्वांगीण विकास की दिशा में मील का पत्थर साबित होगी।