छाल खदान में श्रमिकों का शोषण चरम पर, हर महीने की अवैध वसूली से परेशान मजदूर


विरोध करने पर दी जाती है नौकरी से निकालने और मारपीट की धमकी

धरमजयगढ़। रायगढ़ स्थित एसईसीएल की छाल खदान में श्रमिकों के शोषण का मामला लगातार गंभीर होता जा रहा है। राम कृपाल सिंह प्राइवेट लिमिटेड कंपनी को ओबी कार्य का ठेका मिला है, जहां करीब 280 ड्राइवर और ऑपरेटर तीन शिफ्टों में कार्यरत हैं। लेकिन लंबे समय से इन श्रमिकों को यूनियन से जुड़े कुछ लोगों द्वारा प्रताड़ित किया जा रहा है।

सूत्रों के अनुसार, लोकल यूनियन के पदाधिकारी हर महीने मजदूरों की सैलरी से जबरन 700 रुपये तक की वसूली कर रहे हैं, जबकि पहले यह राशि 500 रुपये थी। विरोध करने वाले मजदूरों को यूनियन पदाधिकारियों और बाहरी लोगों द्वारा नौकरी से निकालने की चेतावनी, यहां तक कि मारपीट की धमकियाँ दी जाती हैं। डर और मजबूरी के कारण श्रमिक चुपचाप इस अवैध वसूली को सहने को मजबूर हैं।

जानकारी के अनुसार यह वसूली का गोरखधंधा पिछले तीन वर्षों से जारी है। कुछ श्रमिकों ने बीच–बीच में शिकायतें भी कीं, पर जांच के नाम पर केवल औपचारिकता निभाई गई, जिससे मजदूरों में निराशा बढ़ती गई।

अब एक बार फिर कुछ साहसी श्रमिकों ने उच्चस्तरीय शिकायत करने का निर्णय लिया है। वे सत्तापक्ष के नेताओं से मिलकर अवैध वसूली के सुबूत और संबंधित दस्तावेज सौंपने की तैयारी कर रहे हैं, ताकि इस शोषण के खिलाफ ठोस कार्रवाई हो सके।

श्रमिकों का कहना है कि अगर जल्द कार्रवाई नहीं की गई तो स्थिति और भयावह हो सकती है। मजदूरों के शोषण का यह मामला अब जिले में बड़ा मुद्दा बन चुका है।

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