क्या अडानी पावर लिमिटेड के द्वारा शासन प्रशासन को गुमराह कर लगाया जा रहा लाखों करोड़ों रुपये का चुना?,……क्या जिला प्रशासन बेखबर है?

साथ ही आम -निस्तार के शासकीय भूमि और आदिवासी के भूमि पर अवैध रूप से कब्ज़ा का मामला सुर्खियों में

पूर्व में शसकीय टीम जब जांच करने पहुंची तो अतिरिक्त जमीन का दस्तावेज  कम्पनी प्रबंधक के द्वारा जांच में  नहीं दिखा पाया था कागजात


रायगढ़ :यह मामला हमेशा सुर्खियों में रहने वाले अडानी पावर लिमिटेड , ग्राम-बड़े भंडार तहसील पुसौर , रायगढ़ में स्थित का है।
आवेदक संस्था जिला उद्योग एवं व्यापार केंद्र रायगढ़ के द्वारा अडानी पावर लिमिटेड ग्राम-बड़े भंडार के लिए रेलवे लाइन हेतु 19 ग्रामो की भू-अर्जन की कार्यवाही हेतु भू-अर्जन अधिकारी रायगढ़ के द्वारा भू-अर्जन की कार्यवाही की जा रही है जो नियम विरुद्ध है क्योंकी जिस सैंद्धांतिक सहमति के द्वारा भू-अर्जन की कार्यवाही की जा रही है वह वर्ष 2016 में कोरबा वेस्ट पावर कंपनी लिमिटेड को सैंद्धांतिक प्राप्त हुई थी जिसके आधार पर जिला उद्योग एवं व्यापार केंद्र को आवेदक बनाके अनुविभागीय अधिकारी सह भू-अर्जन अधिकारी रायगढ़ के द्वारा वर्ष 2015 में 14 ग्रामो के 86 एकड़ भूमि भू -अर्जन किया जा चूका है जिस भूमि का अधिपत्य अभी तक लीज डीड के माध्यम से अडानी पावर लिमिटेड को प्राप्त ही नहीं हुआ है और इस पर अडानी पावर के द्वारा निर्माण कार्य किया जा चूका है ,वे ग्राम-रुचिदा ,बासनपाली ,राइतराई , गोर्रा तहसील-पुसौर ,कुर्मापाली ,बालमगोंडा तहसील -रायगढ़ के अंतर्गत है।

क्या यह नियम सगति है या फिर झोल झाल :
जबकि अडानी पावर लिमिटेड के लिए आवेदक संस्था जिला व्यापार एवं उद्योग केंद्र के वतर्मान में जो भू-अर्जन की कार्यवाही किया जा रहा है वो कोरबा वेस्ट पावर कंपनी को मिले सैद्धांतिक सहमति के आधार पर किया जा रहा है जो नियम विरुद्ध है क्योकि कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल (राष्ट्रीय कंपनी विधि अधिकरण) अहमदाबाद बेंच के द्वारा IA 236 OF 2019 IN CP (I.B. ) NO. 190/NCLT/AHM/2018 में कोरबा वेस्ट पावर कंपनी लिमिटेड को दिवालिया शोधन के द्वारा कोरबा वेस्ट पावर कंपनी लिमिटेड अस्तित्व को समाप्त कर दिया गया है अर्थात कोरबा वेस्ट पावर कंपनी को शासन एवं जिला प्रशासन से जो भी अनुमति ,छूट ,सैद्धांतिक सहमति , लीज डीड प्राप्त हुए है वे सभी समाप्त हो जाते है ।

क्या कंपनी प्रबंधन शासन प्रशासन को धोखे में रख रहा है:तो करवाई कब :इस प्रकार अडानी कंपनी के द्वारा नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल (राष्ट्रीय कंपनी विधि अधिकरण) अहमदाबाद बेंच के द्वारा प्रकरण क्रमांक IA 236 OF 2019 IN CP (I.B. ) NO. 190/NCLT/AHM/2018 आदेश को छुपाकर शासन एवं जिला प्रशासन को धोखे में रखकर भू-अर्जन की कार्यवाही को किया जा रहा है ,चुकी भू-अर्जन की कार्यवाही में आवेदक संस्था जिला व्यापार एवं उद्योग केंद्र है और अडानी कंपनी का कहि पर नाम नहीं है अतः इसी का अडानी पावर कंपनी के द्वारा फायदा उठाकर भू-अर्जन की कार्यवाही को करवाया जा रहा है जबकि अडानी कंपनी वर्ष 2019 अस्तित्व में आया है तो उसे तीन वर्ष पूर्व अर्थात वर्ष 2016 में सैद्धांतिक सहमति कैसे मिल सकता है ,जो समझ से परे है |
सुचना के अधिकार से सी.एस.आई. डी. सी. रायपुर से जब यह जानकारी माँगा गया की कोरबा वेस्ट पावर कंपनी लिमिटेड ग्राम-बड़े भंडार में स्थित कंपनी जिसका वर्तमान में अस्तित्व को ही समाप्त कर दिया गया है|


कोरबा वेस्ट पावर कंपनी लिमिटेड ग्राम-बड़े भंडार प्लांट स्थापन हेतु जिन चार ग्रामो -छोटे भंडार ,बड़े भण्डर ,अमलीभौना एवं सरवानी के ग्रामो के लगभग 600 एकड़ भूमि का अर्जन किया गया था जिसमे आवेदक संस्था जिला व्यापर एवं उद्योग केंद्र था और 99 वर्षो के लीज पर CSIDC RAIPUR के द्वारा कोरबा वेस्ट पावर कंपनी दिया गया था, चुकी वर्तमान में कोरबा वेस्ट पावर कंपनी का अस्तित्व ही नहीं तो उसका लीज डीड स्वमेव समाप्त हो जाता है ,साथ ही उक्त भूमि को वर्तमान जिस कंपनी को दिया गया है उसकी जानकरी मांगी गई तब CSIDC रायपुर के द्वारा बताया गया की वर्तमान किसी भी कंपनी अर्थात अडानी पावर कंपनी को भी लीज डीड पर नहीं दिया गया है अर्थात अडानी पावर कंपनी के द्वारा अवैध तरीके से उक्त भूमि पर कब्ज़ा किया गया है जो शासन एवं जिला प्रशासन को करोड़ो रुपये का नुकसान पहुंचाया जा रहा है।

क्या कंपनी प्रबंधन शासकीय एवं अन्य दैनिक जमीन पर कब्जा किया:
इसी प्रकार से अडानी कंपनी के द्वारा प्लांट के अंदर लगभग 7 एकड़ शासकीय आम -निस्तार ( तालाब ,सड़क एवं नाला ) की भूमि को अवैध रूप से कब्ज़ा किया हुआ है ,ग्राम-सरवानी के खसरा न. 459 ,463,465,467,472,522,524,536/6,557 ,563,484,449/1 रकबा क्रमशः 0.368 ,0.271 ,0.263 ,0.146 ,0.182 ,0.081 ,0.202 ,0.105 ,0.174 ,0.182,0.498 ,0.138 हेक्ट., ग्राम- बड़े भंडार के खसरा न. 54/4 रकबा क्रमशः 0,045 हेक्ट ग्राम-छोटे भंडार के खसरा न. 2/1 रकबा क्रमशः 0.227 हेक्ट कुल रकबा 2.882 हेक्ट ( 7.11 एकड़ ) शासकीय भूमि जो आम निस्तार ( नाला ,तालाब एवं सड़क मद में दर्ज ) भूमि पर अडानी पावर लिमिटेड- छोटे भंडार के द्वारा शासकीय भूमि पर अवैध कब्ज़ा पाया गया है जिसमे वर्तमान में प्लांट का निर्माण कार्य कर दिया गया है ।जिस पर जिला प्रशासन मूक दर्शक बना हुआ है अभी तक कोई कार्यवाही नहीं किया गया है जो समझ से परे है।
अडानी कंपनी के द्वारा एक आदिवासी महिला पूनम बाई गोंड पति स्व पुरषोत्तम लाल गोंड के ग्राम-बड़े भंडार स्थित भूमि खसरा न. 202/4 रकबा 0.21 एकड़ भूमि पर अवैध रूप से कब्ज़ा किया गया है इसकी जानकारी जिला प्रशासन को होने के बावजूद कोई कार्यवाही नहीं किया जा रहा है तत्कालीन तहसीलदार श्री नंदकिशोर सिन्हा के द्वारा अडानी कंपनी के किशोर राउत से मिलीभगत कर उक्त आदिवासी महिला के भूमि को अवैध कब्ज़ा किया गया है ,जिला प्रशासन के द्वारा आदिवासी के हितो की रक्षा करने के बजाय तहसीलदार के द्वारा आदिवासी का शोषण किया गया है जो एक अपराध के श्रेणी में आता है।
इसी प्रकार से अडानी कंपनी के द्वारा जिन ग्रामो के भूमि का अर्जन किया जा रहा है उसमे ग्राम-कोतमरा और गोर्रा में बस्तर से आदिवासी के नाम से लगभग 50 एकड़ भूमि आदिवासी के नाम पर है जिसमे कंपनी के द्वारा करोड़ो का खेल किया गया है और इस लिए उनके द्वारा जल्द से जल्द भू-अर्जन की कार्यवाही करने हेतु जिला प्रशासन पर दबाव बनाया जा रहा है और नियम विरुद्ध तरीके से भू-अर्जन किया जा रहा है जिसकी जाँच किया जाना चाहिए और समस्त भू-अर्जन को निरस्त किया जाना चाहिए।
इसी प्रकार से अडानी कंपनी के द्वारा छत्तीसगढ़ के आदिवासी किसानो और भोले -भाले किसानो के जमीन को अवैध रूप से हथियाने का प्रयास किया जा रहा है जिसमे जिला प्रशासन मूकदर्शक बना समझ से परे है।
क्या कहते अधिकारी
आदिवासी जमीन का मामला मेरे सज्ञान में आया है मेरे पुसौर के प्रभार लेने के पहले का मामला है  भूमि स्वामी द्रारा कलेक्टर जनदर्शन में भी शिकायत कर चूका है मेरे द्रारा जल्द हीं जांच कर करवाई की जाएगी कम्पनी को भी कब्जे वाले जमीन का दस्तावेज दिखाने के लिए कहा गया
नेहा उपाध्याय
तहसीलदार पुसौर रायगढ़

क्या कहते है अधिकारी
जमीन का भू अर्जन गलत तरिके से किया जा रहा है इसकी शिकायत मेरे पास अभी नहीं आया है पीड़ित को बोलिए दस्तावेज के साथ मुझसे सम्पर्क करे और सबधित अधिकारी एवं कर्मचारी से बात करता हूँ की आखिर क्या है पूरा मामला उसके बाद जांच करुँगा
प्रवीण तिवारी
एसडीएम रायगढ़

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button