नहीं बदलेगी रायगढ़ जिले सहित सारनगढ़ विधानसभा के काग्रेसी प्रत्याशीयों की टिकट :सूत्र
रायगढ़ : मिली जनकारी के अनुसार कांग्रेस की हाई कमान और भूपेश बघेल पर आँख बद कर भरोसा करने वाले राहुल गाँधी, प्रियंका गाँधी के अलावा कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिका खड़के अर्जुन का प्रदेश में आगमन हो रहा है जहाँ भिलाई में एक सभा को सबोधित करगे जिसके बाद टिकट बटवारे पर अतिम मोहर लगेगी जिसके बाद काग्रेस की तरफ से पहली सूची जारी किया जा सकता है यह सूची दो अक्टूबर गाँधी जयति के बाद कभी भी जारी किया जा सकता है जिसको लेकर प्रदेश और स्थानीय विधानसभा के टिकट दावेदारों की धड़कने तेज हो गईं है।
नहीं बदलेगी प्रत्याशियों की टिकट: कांग्रेस प्रदेश की अति विशिष्ट सूत्रों से जानकारी मिल रही है कि सारंगढ़ सहित रायगढ़ विधानसभा के किसी भी प्रत्याशी का टिकट नहीं काटने वाला है अगर साफ सुंदर शब्दों में बात की जाए तो पिछले विधानसभा चुनाव में जो जो प्रत्याशी जीतकर विधायक बने थे उनका टिकट सही सलामत रखा जा रहा है हालांकि रायगढ़ विधानसभा और लैलूंगा विधानसभा को लेकर विरोध का स्वर प्रदेश कांग्रेस कार्यालय हाई कमान तक पहुंचा था पहुंचा था जिसको समय रहते रहते रायगढ़ विधानसभा के विधायक प्रकाश नायक और लैलूंगा विधानसभा के विधायक चक्रधर सिंह सिदार नजाकत को समझ लिया क्योंकि दोनों ही प्रत्याशी राजनीती के माहिर खिलाड़ी माने जाते हैं प्रकाश नायक की बात की जाए तो हालांकि पहली बार विधायक बने हैं लेकिन अपने पिता के साथ रह रहा कर राजनीति के सभी गुरु मत्र को वह अच्छे से जानते हैं रही लैलूंगा विधानसभा के चक्रधर सिंह सिदार की बात तो वह राजनीति चाणक्य माना जाता है अपने सरल स्वभाव की वजह से सभी के दिलों में राज करते हैं उनकी बालों की सफेदी को यूं ही गुरुर नहीं है उनका राजनीती सफर सरपंच से प्रारंभ होकर विधायक तक पहुंचा है अपने विरोधियों को कब और कहां चुप करना है दोनों ही विधायक अच्छे से जानते हैं।
वहीं अगर दूसरी तरफ देखा जाए तो ऐसा प्रतीत होता है कि प्रदेश आला कमान के तरफ से कुछ ना कुछ दिशा निर्देश मिले हैं तभी तो दोनों ही विधायक अपने-अपने विधानसभा में दौरा तेज कर दिए हैं और असंतुष्टों कार्यकर्ता से मेल मिलाप पर उनकी समस्या से रूबरू हो रहे हैं जहाँ असंतुष्ट वोटर हैं उनके पास भी पहुंच रहे हैं आगे देखने वाली बात यह होगी कि रायगढ़ सहित सारंगढ़ विधानसभा के विधायक प्रत्याशियों पर कांग्रेस हाई कमान अगर भरोसा करके मैदान में उतारने जा रहा है तो उनके भरोसे पर कितना खरा उतरते हैं।
क्या होगा उन नए चेहरे का जो प्रत्याशी बनने के लिए सपना देख रहे थे : इस बार विधानसभा चुनाव को लेकर दो दर्जन से ज्यादा रायगढ़ विधानसभा में दावेदारों की सूची थी हालांकि यह सिर्फ मामला रायगढ़ का ही नहीं था लैलूंगा सहित प्रदेश के लगभग सभी विधानसभा सीटों पर दावेदारों की लंबी सूची थी प्रदेश कांग्रेस कमेटी ने पहले ही घोषणा कर दिया था कि जो अध्यक्ष, सरपंच, पार्षद, के रूप में कार्य कर चुका है उनको पार्टी टिकट के लिए प्राथमिकता देगी इसके बावजूद भी कई लोग कांग्रेस के तरफ से रायगढ़ विधानसभा में टिकट के मामले में अपने आप को 100 टक्का सही मानते है,जबकि कई ऐसे हैं जो 5 साल कांग्रेस कार्यालय में कदम तक नहीं रखें, इनमें से कई ऐसे भी है जो होर्डिंग के जरिए रायगढ़ विधानसभा में जीत का दावेदारी कर करते हैं,कई ऐसे भी हैं जो पैसों के बल पर विधानसभा में दावेदारी करने की बात कहते हैं,कई ऐसे भी है जो कांग्रेस के किसी भी रैली में शामिल नहीं हुए उन सभी लोगों को यह समझना पड़ेगा की विधानसभा के जमीनी हकीकत जानने के लिए पर वोटरों से मिलना पड़ता है जमीनी खाक छानी पड़ती है उसके बावजूद भी परिणाम आएगा कि नहीं आएगा यह भी नामुमकिन सा होता है।
उन लोगों को यह भी समझना चाहिए कि जो कई वर्षों से कांग्रेस की सेवा भाव कर रहे हैं और पार्टी के लिए अपने आप को समर्पित कर चुके हैं उनको पार्टी क्या प्राथमिकता नहीं देगी क्या वह कार्यकर्ता उन तमाम प्रत्याशियों के लिए काम करेगी सोचने वाली बात है।