
शिक्षा मंत्रालय द्वारा बेस्ट शिक्षक एवार्ड के लिए धनागर के कृष्णा पटेल चयनित
०जवाहर नवोदय विद्यालय चिस्दा में है पदस्थ
०शिक्षक दिवस के दिन राष्ट्रपति के हाथों होंगे सम्मानित
रायगढ़।
शिक्षा के क्षेत्र में सूचना और संचार तकनीक के माध्यम से स्कूली छात्रों में विज्ञान विषय को रोचक बनाने के लिए अपनाई गई नई नवाचार तकनीक के चलते ग्राम धनागर के मूलनिवासी एवं विज्ञान शिक्षक के रूप में जवाहर नवोदय विद्यालय चिस्दा जांजगीर चांपा में पदस्थ शिक्षक कृष्ण कुमार ‘पटेल ( कृष्णा)को सत्र 2019-20 के लिए उत्कृष्ट शिक्षक का आईसीटी अवार्ड के लिए चयन किया गया है और शिक्षक दिवस के दिन वे राष्ट्रपति के हाथों सम्मानित होंगे। ज्ञात हो कि जिला पंचायत अध्यक्ष निराकार पटेल एवं जिला पंचायत में पूर्व उपाध्यक्ष नरेश पटेल शिक्षा समिति के सभापति के गृह ग्राम धनागर जिला रायगढ़ निवासी कृष्णकुमार पटेल विज्ञान शिक्षक के रूप में जवाहर नवोदय विद्यालय जांजगीर चांपा में पदस्थ है जो विगत कई वर्षों से विद्यार्थियों के सर्वांगीण विकास एवं उनमें वैज्ञानिक दृष्टिकोण उत्पन्न करने के लिए सराहनीय योगदान करते रहे हैं । इसी तारतम्य में जहां कोरोना के कारण स्कूल बंद है तब के.के.पटेल द्वारा सूचना संचार तकनीक का बेहतरीन उपयोग करते हुए कई नवाचार विधियों को अपनाकर ना केवल सैकड़ों शैक्षिक वीडियो क्लिप तैयार किए बल्कि राष्ट्रीय स्तर पर विज्ञान विषय के लिए ई कंटेंट भी तैयार किया। साथ ही उन्होंने छत्तीसगढ़ शिक्षा विभाग वेबसाइट cgschool.in में बहुत सारे वीडियो क्लिप भी अपलोड किए जिसे राज्य सरकार द्वारा विभिन्न स्कूली कार्यक्रम पढ़ाई तुंहर द्वार और मोहल्ला क्लास में दिखा रही है। इसके अलावा नवोदय विद्यालय में प्रवेश के लिए उनके द्वारा बनाए गए आईसीटी माड्यूल से आवेदनों की संख्या काफी बढ़ गई।
बहुमुखी प्रतिभा के धनी कृष्ण कुमार पटेल द्वारा नियमित ऑनलाइन योगा क्लास द्वारा बच्चों को शारीरिक व मानसिक रूप से मजबूत बनाया जा रहा है। कृष्णकुमार पटेल वर्तमान में एनसीसी ऑफिसर भी हैं और पूर्व में राष्ट्रीय सेवा योजना के कार्यक्रम अधिकारी भी रहे हैं। कहते हैं जो आज विज्ञान है कल वही टेक्नोलॉजी है I इसी बात को चरितार्थ करते हुए अपने सीमित संसाधनों द्वारा सैकड़ों रोचक वीडियो बनाकर उसे विभिन्न सोशल माध्यम में अपलोड किए हैं। उनके यूट्यूब चैनल केके पटेल में 12000 से भी अधिक सब्सक्राइबर हैं ।शिक्षा के क्षेत्र में किए गए उपर्युक्त कार्यों के लिए ही केके पटेल का चयन राष्ट्रीय आईसीटी अवार्ड के लिए हुआ है। शिक्षा मंत्रालय द्वारा देशभर से सैकड़ों शिक्षकों में से उन्ही शिक्षकों को आईसीटी अवार्ड के लिए चुनती है जिन्होंने परंपरागत शिक्षा के क्षेत्र में नवाचार प्रयोग करते हुए आईसीटी का प्रभावशाली उपयोग कर विद्यार्थियों में शिक्षा एवं विषय के प्रति जिज्ञासा उत्पन्न की हो।
० नई तकनीक से बच्चों में करें ज्ञान का सृजन – कृष्णा पटेल
शिक्षक कृष्ण कुमार पटेल ने आईसीटी अवार्ड के लिए चयन होने पर खुशी जाहिर करते हुए कहा कि -“वर्तमान टीचिंग लर्निंग की प्रक्रिया जिस रचनावाद के दौर से गुजर रही है वहां तकनीक ही विषय को सहज सरल और रोचक बना सकती है और हम शिक्षकों के लिए भी यह संक्रमण काल है अतः तुरंत नई तकनीक को अपनाकर नए ज्ञान का सृजन करके बच्चों को आसानी से उसे उपलब्ध करायें।” अस्तु किसी ने बिल्कुल ठीक कहा है कि तकनीक भले ही शिक्षक का स्थान नहीं ले पाएगी लेकिन वह शिक्षक उन शिक्षकों के स्थान जरूर ले लेंगे जो तकनीक में आगे हैं।
विद्यालय परिवार एवं शिक्षक साथियों में भी हर्ष
शिक्षक कृष्ण कुमार पटेल को उक्त पुरस्कार के लिए चयनित होने पर उनके गृह ग्राम से संबंध जिला पंचायत के अध्यक्ष निराकार पटेल एवं पूर्व शिक्षा समिति सभापति नरेश पटेल ने शिक्षक कृष्ण कुमार को बधाई देते हुए इसे रायगढ़ जिला के साथ छत्तीसगढ़ राज्य के लिए गौरव का विषय बताया तथा कृष्ण कुमार पटेल को अपने गांव के लिए मान सम्मान बढ़ाने वाला प्रतिभा के रूप में शुभकामना दी है। जवाहर नवोदय विद्यालय चिस्दा जांजगीर चांपा के
विद्यालय परिवार ने भी हर्ष व्यक्त करते हुए कहा कि शिक्षक कृष्ण कुमार पटेल को अपने विद्यालय का एक आदर्श शिक्षक बताते हुए कहां है कि वे ना केवल फिट रहते हैं बल्कि स्वयं को हमेशा नई तकनीकों से अपने आप को अपडेट और अपग्रेड भी रखते हैं। वहीं शिक्षक कृष्ण कुमार पटेल के शिक्षक साथियों में शालेय शिक्षक संघ के जिला अध्यक्ष भोजराम पटेल, बनमाली प्रसाद पटेल, टीचर्स एसोसिएशन के जिलाध्यक्ष, नेतराम साहू, रायगढ़ विकासखंड से बिनेश भगत किरण कुमार पटेल शिक्षक संगठन से राजकमल पटेल द्वारा हर्ष व्यक्त करते हुए उन्हें हार्दिक बधाई के साथ शुभकामना प्रदान की गई है।

∆ कृष्णा के डिजिटल नेमोनिक मेथड ने प्रभावित किया राष्ट्रीय स्तर पर
कृष्णकुमार पटेल ने अपने पुरस्कार हेतु विभिन्न गतिविधियों के साथ राष्ट्रीय स्तर पर प्रेजेंटेशन के बारे में बताया कि विज्ञान विषय पढ़ते समय सबसे बड़ी समस्या यह रहती है कि हम मुख्य बिंदुओं को लंबे समय तक याद नहीं रख पाते, खासकर परीक्षा के समय। निमोनिक्स मेथड इसी समस्या से हमको निजात दिलाता है यह एक लंबी सीरीज को एक छोटी सी लाइन में जोड़ने की प्रक्रिया है जैसे VIBGYOR सेवन कलर्स के फर्स्ट लेटर से बना है। है तो पुरानी विधि तो इसमें नया क्या है? नया इस संदर्भ में है की आईसीटी के साथ इस कंसेप्ट को कनेक्ट किया है और एनिमेशन के द्वारा टॉपिक को रोचक बनाने का प्रयास किया है। पहले हम एक्रोनीम्स बनाते हैं, चाहे वह कोई भी उटपटांग शब्द हो फिर इसे किसी इमेज, पिक्चर या किसी स्टोरी से जोड़ देते हैं। और सबसे महत्वपूर्ण भाग है इस स्टोरी को एनिमेट करके छात्रों तक इसको शेयर करना। एक बार छात्रों को इस प्रक्रिया का ज्ञान हो जाने के बाद वह खुद भी बहुत सारे एक्रोनीम्स बनाते हैं । यह विधि केवल विज्ञान में ही नहीं बाकी दूसरे विषय में भी उतना ही कारगर