
लागत के आधार पर लाभकारी मूल्य एवं अन्य मांगों को लेकर भारतीय किसान संघ के बैनर तले किसान करेंगे आंदोलन 19 दिसंबर 2022 को दिल्ली के रामलीला मैदान में एक विशाल किसान गर्जना रैली का आयोजन करने जा रहा है।
भारतीय किसान संघ लागत के आधार पर लाभकारी मूल्य एवं अन्य मांगों को लेकर 19 दिसंबर को दिल्ली के रामलीला मैदान में किसान गर्जना रैली करने जा रहा है। इस रैली में देश भर से दो लाख किसान जुटेंगे। किसान गर्जना रैली में छत्तीसगढ से दो हजार किसान अपनी उपस्थिति दर्ज कराएंगे।
भारतीय किसान संघ के जिलाध्यक्ष धीरेंद्र दुबे ने कहा कि स्वतंत्रता के 75 वर्षों के बाद किसान आज भी इंतजार में है कि उनकों कब न्याय मिलेगा। कम से कम लागत के आधार पर लाभकारी मूल्य तो उनको मिले। वह तो नहीं मिलता है। सभी आदानों पर जीएसटी की मार भी अलग से है। जीएसटी कानून के अंतर्गत सभी उत्पादकों को इनपुट क्रेडिट मिलता है सिवाय किसानों को छोड़कर। प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि किसानों के लिए बड़ा कदम है। सरकार किसान के हित में सोचकर खाद में सब्सिडी तो देती है लेकिन ये अधिकतर किसान के हित में न होकर कंपनियों के हित में है।
हाल ही में पर्यावरण मंत्रालय ने जीएम सरसों को अनुमति दे दिया है। इधर प्रधानमंत्री ने प्राकृतिक खेती की बात करते हैं। जैव विविधत्ता की बात करते हैं। मधुमक्खी पालन की बात करते है, पंचमहाभूत के संरक्षण की बात करते हैं। उधर पर्यावरण मंत्रालय ने इन सभी के एकदम विपरीत जीएम फसलों की तरफदारी कर रहे हैं। ऐसे ही हर क्षेत्र को पानी के लिए नदी जोड़ने की घोषणा तो हुई है लेकिन जमीनी स्तर पर कुछ दिख नहीं रहा है। इन्हीं महत्वपूर्ण मुद्दों को लेकर भारतीय किसान संघ ने आगामी 19 दिसंबर 2022 को दिल्ली के रामलीला मैदान में एक विशाल किसान गर्जना रैली का आयोजन कर रहा है। देश के सभी प्रांतों से करीब 560 जिलों से प्रतिनिधि आने वाले है।
ये हैं प्रमुख मांग
लागत के आधार पर लाभकारी मूल्य किसानों को मिले।
किसान सम्मान निधि में आदानों की दर वृद्वि के अनुपात में वृद्वि हो।
कृषि आदानों को जीएसटी मुक्त करें।
जीएम फसलों की अनुमति को तुरंत वापस लेनी चाहिए।