प्रदेश के लगभग तीन हजार राइस मिलर्स आखिरकार धान का उठाव करने को तैयार हो गए। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने शुक्रवार को छत्तीसगढ़ राइस मिलर्स एसोसिएशन के प्रतिनिधिमंडल को अनुबंध की प्रक्रिया में सुधार करने का भरोसा दिया। प्रोत्साहन राशि, बकाया भुगतान, स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल के घर पर सुबह मिलर्स के साथ पहले राउंड की बैठक हुई। इसमें मार्कफेड के प्रबंध संचालक रमेश शर्मा के साथ खाद्य विभाग के अधिकारी भी मौजूद थे। मिलर्स की ओर से एसोसिएशन के अध्यक्ष योगेश अग्रवाल ने अपनी बातें रखीं। अधिकतर मुद्दों पर सहमति बनने के बाद स्वास्थ्य मंत्री जायसवाल अधिकारियों और मिलर्स को लेकर मुख्यमंत्री आवास पहुंचे।
वहां सीएम साय ने सभी मांगों को पूरा करने का आश्वासन दिया। साथ ही यह भी भरोसा दिया कि सोमवार से विभाग के स्तर पर पहल शुरू हो जाएगी। इसके बाद मिलर्स भी कस्टम मिलिंग के लिए कॉन्ट्रैक्ट को तैयार हो गए। एसोसिएशन के अध्यक्ष अग्रवाल ने कहा कि कॉन्ट्रैक्ट होते ही खरीदी केंद्रों पर पड़े धान का उठाव शुरू हो जाएगा। सीएम आवास में हुई बैठक में एसोसिएशन के महामंत्री विजय तायल, प्रमोद जैन, कोषाध्यक्ष चंदन अग्रवाल और सचिव संजय गर्ग भी मौजूद थे।
अब तक 33 लाख टन धान की खरीदी राज्य में 14 नवंबर को धान खरीदी शुरू हुई। किसानों से लगभग 33 लाख टन धान की खरीदी हो चुकी है। हालांकि अभी तक धान समितियों के 2739 खरीदी केंद्रों पर ही पड़े हैं। मिलर्स के कस्टम मिलिंग के लिए तैयार हो जाने के बाद अब खरीदी केंद्रों पर भी जाम की स्थिति समाप्त होगी। इससे धान की खरीदी में और भी तेजी आ जाएगी।