
पूर्व सीएम भूपेश बघेल के घर पर ईडी की छापेमारी के बाद हंगामा, गाड़ी पर हमले में एफआईआर दर्ज
छत्तीसगढ़ में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की छापेमारी के बाद बड़ा हंगामा देखने को मिला। पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के घर पर छापे के बाद ईडी की गाड़ी को रोकने और पथराव करने की घटना पर एफआईआर दर्ज की गई है। दुर्ग पुलिस ने इस मामले में सन्नी अग्रवाल समेत 15-20 लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया है।
ईडी की गाड़ी पर हमला, ड्राइवर की शिकायत पर केस दर्ज
ईडी की टीम ने सोमवार को भिलाई स्थित बघेल के आवास सहित 13 ठिकानों पर छापा मारा था। जब ईडी की टीम छापेमारी खत्म कर लौट रही थी, तभी प्रदर्शनकारियों ने ईडी के वाहन को घेर लिया, कुछ लोग बोनट पर चढ़ गए और पथराव किया। ईडी की शिकायत पर पुरानी भिलाई थाने में एफआईआर दर्ज की गई है।
किन धाराओं में मामला दर्ज?
पुलिस ने आरोपियों पर दंगा फैलाने [191(2)], गैरकानूनी रूप से एकत्र होने (190), सरकारी कार्य में बाधा डालने (221), सरकारी कर्मचारी पर हमला (132), गलत तरीके से रोकने [126(2)] और सार्वजनिक संपत्ति विनाश कानून की धारा 3 के तहत मामला दर्ज किया है।
ईडी की कार्रवाई और कांग्रेस का विरोध
ईडी ने कथित शराब घोटाले में मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में भूपेश बघेल के बेटे चैतन्य बघेल के खिलाफ जांच के तहत कार्रवाई की थी। इस दौरान करीब 30 लाख रुपये नकद और कुछ दस्तावेज जब्त किए गए।
ईडी का आरोप है कि 2019-2022 के बीच हुए इस घोटाले से छत्तीसगढ़ को भारी वित्तीय नुकसान हुआ और शराब सिंडिकेट के जरिए 2,100 करोड़ रुपये से अधिक की अवैध कमाई की गई।
इस कार्रवाई पर भूपेश बघेल और कांग्रेस ने केंद्र सरकार पर निशाना साधा। कांग्रेस ने कहा कि यह छापेमारी संसद में विपक्ष के सवालों से बचने की रणनीति है। ईडी जल्द ही चैतन्य बघेल को रायपुर कार्यालय में पूछताछ के लिए बुला सकती है।